Good morning

आज रखे हैं क़दम उस ने मेरी चौखट पर
आज दहलीज़ मेरी छत के बराबर हुई है।
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   किसने केवल सुख ही देखा है और किसने केवल दुःख ही देखा है, जीवन की दशा एक चलते पहिये के घेरे की तरह है जो क्रम से ऊपर और नीचे जाता रहता है।
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